कोरोना काल में लोगों को जितना आर्थिक दिक़्क़तों का सामना करना पड़ा उतना ही बच्चों को भी पढ़ाई का नुकसान उठाना पड़ा।
प्राइवेट ट्यूशन में हुआ इजाफा-
ऐसे में आनलाइन पढ़ाई पर ज्यादा जोर दिया गया। जिसके चलते बच्चों ने अलग से भी प्राइवेट ट्यूशन लिए। जिसके बाद जारी हुई वार्षिक शिक्षा स्थिति रिपोर्ट (एएसईआर) 2021 में यह जानकारी सामने आई है कि 17 नवंबर महामारी के पहले के समय (2018) से लेकर अब तक के दौरान ट्यूशन पढ़ने वाले स्कूली बच्चों की संख्या में 10 प्रतिशत से ज्यादा की वृद्धि हुई है।