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अल्मोड़ा: जीबी पंत राष्ट्रीय हिमालयी पर्यावरण संस्थान ने तैयार किया सूर्य कुंज जंगल

जीबी पंत राष्ट्रीय हिमालयी पर्यावरण संस्थान अल्मोड़ा का सूर्य कुंज प्रतिवर्ष 420 टन कार्बन सोखकर जैव विविधता का केंद्र बन गया है। इस विशालय सूर्य  कुंज में विलुप्त प्राय तमाम प्रजातियों के पौधों का रोपण किया गया था, जो अब पेड़ों में तब्दील हो चुके हैं। ये जंगल इस वक्त 160 से अधिक प्रजातियों के पक्षियों और सौ से भी ज्यादा प्रजातियों की तितलियों का बसेरा है।

करीब 15 साल पहले जंगल निर्माण की कवायद शुरू हुई थी

संस्थान में अध्ययन केंद्र की ओर से करीब 15 साल पहले जंगल निर्माण की कवायद शुरू हुई थी, जहां विलुप्त हो रहे पेड़ों की तमाम प्रजातियों का संरक्षण किया जा सके। अब ये जंगल पूरी तरह अस्तित्व में आ चुका है।

ये  कुंज साल में करीब 420 टन कार्बन सोख रहा है

जंगल में पेड़ों के अलावा  सौ प्रकार वृक्ष प्रजातिया, सौ प्रकार के मेडिशन प्लांट, 20 प्रकार के ब्रायोफाइड्स, सात प्रकार के लाइकेन उगाए गए हैं। वैज्ञानिक लगातार सूर्य कुंज के कार्बन सोखने की क्षमता की मैपिंग करते रहे तो पता चला कि ये सूर्य कुंज साल में करीब 420 टन कार्बन सोख रहा है। इससे वैज्ञानिक गदगद हैं।

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