आज 14 फरवरी है। श्रीनगर में हुए पुलवामा हमले की आज पांचवी बरसी है। आज के ही दिन साल 2019 में भारत ने अपने रक्षक वीर सपूतों को एक आंतकी के आत्मघाती हमले में खो दिया था। 14 फरवरी, 2019 को पुलवामा हमले में 40 जवान शहीद हो गए थे। इसे लेकर पूरे देश में हर साल इसी दिन लोग अपने वीर जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हैं और देश के लिए किए गए उनके बलिदान को नमन करते हैं। इसके अलावा इस दिन को काला दिवस के तौर पर भी मनाया जाता है।
पुलवामा हमले में 40 जवान हुए थे शहीद
14 फरवरी 2019 को जम्मू कश्मीर के पुलवामा में जैश-ए-मोहम्मद के आतंकी ने विस्फोटकों से लदे वाहन से CRPF जवानों की बस को टक्कर मार दी, जिसमें 40 जवान शहीद हो गये और कई गंभीर रूप से घायल हुए थे। घटना भले पांच साल पुरानी है, लेकिन उसके जख्म आज तक हरे हैं। हमले के बाद सरकार की नीतियों ने कड़ा रुख किया और आतंक की कमर तोड़ने के कई अभियान चलाए।
14 फरवरी को हुआ था पुलवामा आतंकी हमला
14 फरवरी को भारत के लिए एक काला दिन के रूप में मनाया जाता है क्योंकि देश ने इसी दिन 2019 में 40 बहादुरों को खो दिया था। 14 फरवरी, 2019 को जम्मू-कश्मीर के पुलवामा जिले में पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद (JeM) आतंकवादी समूह के एक आत्मघाती हमलावर ने सीआरपीएफ के काफिले पर हमला किया था। आत्मघाती हमलावर 22 वर्षीय आदिल अहमद डार था, जिसने विस्फोटक से भरे वाहन को बस में टक्कर मार दी थी। काफिले में 78 बसें थीं, जिनमें करीब 2,500 कर्मी जम्मू से श्रीनगर जा रहे थे। अवंतीपोरा के पास दोपहर करीब 3:15 बजे हुए इस हमले में सीआरपीएफ के 40 जवान शहीद हो गए थे, जबकि कई अन्य घायल हुए थे।
40 सीआरपीएफ जवानों की याद में दी जाएगी श्रद्धांजली
2019 में हुए आतंकी हमले की पहली बरसी पर शहादत देने वाले 40 सीआरपीएफ जवानों की याद में स्मारक स्थल का लेथपोरा में उद्घाटन किया गया था। यह स्मारक सीआरपीएफ की 185 बटालियन कैंप में स्थापित किया गया है। सीआरपीएफ के लेथपोरा कैंप में स्थित शहीद स्मारक पर 40 शहीद जवानों को श्रद्धांजलि दी जाएगी।