आज वनस्पति विज्ञान विभाग द्वारा आजादी का अमृत महोत्सव के अन्तर्गत “जल उत्सव कार्यक्रम का आयोजन किया गया, जिसमें स्नातकोत्तर में अध्ययनरत छात्र-छात्राओं द्वारा बढ़-चढ़कर प्रतिभाग किया गया। सभी विद्यार्थियों द्वारा जल संरक्षण विषय पर अपने विचार व्यक्त किए गए
नौलो और धाराओं के महत्व और संरक्षण पर अपने विचार रखे गये
सर्वप्रथम हितेश पाण्डेय द्वारा नौलो और धाराओं के महत्व और संरक्षण पर अपने विचार रखे गए, जिसमें उन्होंने नौलो और धाराओं के पारम्परिक और सांस्कृतिक महत्व से अवगत कराया तत्पश्चात् लक्ष्मण गिरी गोस्वामी द्वारा वैश्विक स्तर जल से जुड़ी समस्याओं और समाधानों पर प्रकाश डाला गया।
ईशा दाबू द्वारा जल प्रदूषण से जुड़ी समस्याओं व समाधानों पर संक्षिप्त में बताया गया।तत्पश्चात् नेहा बिष्ट द्वारा देश में हो रहे जल अभाव पर अपने विचार व्यक्त किए गए। उनके द्वारा जलवायु परिवर्तन एवं उसके परिमाणों पर चर्चा की गई।


जमीनी स्तर पर जल संरक्षण के विभिन्न तरीकों का वर्णन किया गया
उषा चंद्रा द्वारा जल संरक्षण पर अपने विचार व्यक्त किए गए।जमीनी स्तर पर जल संरक्षण के विभिन्न तरीकों का वर्णन किया गया। प्रियंका मेहता द्वारा वर्षा जल संरक्षण पर अपने विचार प्रस्तुत किए गये . कशिश अंसारी द्वारा जल रिसाव नियंत्रण के विभिन्न तरीकों पर प्रकाश डाला गया।ज्योति जोशी द्वारा पानी बचाओ विषय पर अपने विचार रखे गए ।
चर्चा की गयी
कार्यक्रम समापन पर निदेशक हरेला पीठ प्रो० जगत सिंह बिष्ट के द्वारा – उत्सव कार्यक्रम और हरेला पीठ पर अपने विचार व्यक्त किए गए, रसायन विज्ञान विभागाध्यक्ष एवं प्रभारी अधिष्ठाता प्रशासन प्रो. जी.
सी० शाह द्वारा प्रयोगात्मक जल संरक्षण विधियों पर चर्चा की गई।
मौजूद रहे –
भौतिक विज्ञान विभाग की ओर से प्रो. एन. एस बिष्ट द्वारा महाविद्यालय स्तर पर जल संरक्षण के उपायों पर प्रकाश डाला गया।अंत में वनस्पति विज्ञान विभागाध्यक्ष डॉ. बलवन्त कुमार द्वारा सभी अतिथियों का धन्यवाद व्यक्त करते हुए कार्यक्रम का समापन किया गया । इस अवसर पर प्रो जे. एस बिष्ट, प्रो .जी .सी साह, डॉ.नंदन सिंह बिष्ट, डॉ बलवंत कुमार, डॉ धनि आर्य, डॉ. मंजू लता उपाध्याय, डॉ मनीष त्रिपाठी, डॉ रविंद्र कुमार, ड़ॉ मन मोहन कनवाल व मीडिया प्रभारी डॉ ललित चंद्र जोशी उपस्थित रहे ।