बागेश्वर जिले से जुड़ी खबर सामने आई है। विकास खण्ड कपकोट से लगभग 80 किमी0 दूर ग्राम कुंवारी, शम्भू नदी के दायें पार्श्व में स्थित है। शम्भू नदी, पिण्डर नदी की एक सहायक नदी है, जो अपने उद्गम स्थल से लगभग 2.5 किमी० प्रवाह कर पिण्डर नदी में मिलती है तथा पिण्डर नदी, जनपद चमोली के कर्णप्रयाग में अलकनन्दा नदी में मिलती है। ग्राम कुंवारी में वर्ष 2013 से लगातार भू- कटाव एवं भूस्खलन हो रहा है। जिसका मलवा लगभग 150 से 180 मी0 लम्बाई, 80 से 100 मी0 चौड़ाई तथा 5 से 7 मी० ऊंचाई में शम्भू नदी के प्रवाह मार्ग में जमा होने से कुंवारी गांव से U/S की ओर लगभग 500 मी0 लम्बाई में झील का निर्माण गत वर्ष हुआ था। जिसे विभाग द्वारा चौनेलाईजेशन कार्य कराकर नदी के प्रवाह मार्ग को खोल दिया गया था।
सहायक अभियन्ता तरूण लुम्याल द्वारा 01 जुलाई को किया गया स्थलीय निरीक्षण
अधिशासी अभियंता सिंचाई कपकोट पान सिंह बिष्ट ने बताया कि वर्तमान में ग्रामवासियों व ग्राम प्रधान द्वारा अवगत कराया गया कि नदी में उस स्थल पर इस बार भी वर्षा के कारण मलवा आने से उक्त झील का मुहाना बन्द होने से जलस्तर बढ़ रहा है। जिस पर खण्ड के अपर सहायक अभियन्ता तरूण लुम्याल द्वारा 01 जुलाई को स्थलीय निरीक्षण किया गया, जिसमें उनके द्वारा अवगत कराया गया कि झील का मुहाना पूर्ण रूप से खुला हुआ है, एवं पानी की निकासी 15 से 20 मी0 की औसत चौड़ाई से हो रही है।
भूस्खलन से आया मलवा नदी के तल में हो रहा है जमा
वर्तमान में कुंवारी गांव के भूस्खलन से आया मलवा नदी के तल में लगभग 50 से 60 मी0 की लम्बाई एवं 5 से 7 मी0 की ऊंचाई में जमा है। वर्तमान में पानी की निकासी, नदी के बायें पार्श्व से 15 से 20 मी0 की औसत चौड़ाई तथा लगभग 1.5 से 2.0 मी0 गहराई से हो रही है, जिससे किसी प्रकार का खतरा नहीं है।