आज हम स्वास्थ्य से संबंधित फायदों के बारे में आपको बताएंगे। आज के समय पथरी की समस्या एक आम समस्या हो गई है। जिससे हर उम्र के लोग गुजर रहें हैं। जिसमें एक है किडनी में पथरी की समस्या। आज हम इसी से संबंधित आपको जानकारी बता रहें हैं। आजकल गुर्दे में पथरी होना जैसा सामान्य हो गया है। इसके लक्षण नजर आते ही तुरंत पथरी का इलाज करना चाहिए।
किडनी स्टोन/पथरी
गुर्दे की पथरी या किडनी स्टोन को नेफ्रोलिथिआरीस (Nephrolithiaris) भी कहते है। गुर्दे की पथरी एक क्रिस्टलीय खनिज पदार्थ है जो गुर्दे या मूत्र पथ में कही भी हो सकती है। एक छोटा पत्थर बिना लक्षण के मूत्र के साथ बाहर निकल जाता है। लेकिन अगर पथरी 5 एमएम से ज्यादा का हो तो यह मूत्रमार्ग में रुकावट पैदा करता है, जिससे परिणामस्वरूप दर्द और उल्टी जैसे लक्षण उत्पन्न होते है। विभिन्न कारक इन पत्थरों के विकास के जोखिम का बढ़ा सकते है।
ज्यादा पानी पीएं
पानी हाइड्रेशन के स्तर को बनाए रखने में मदद करता है। पानी गुर्दे को खनिजों और पोषक तत्वों को भंग करने में मदद करता है, और पाचन और अवशोषण की प्रक्रिया को तेज करता है। पानी शरीर से अनावश्यक विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालने में मदद करता है जिससे किडनी को और नुकसान हो सकता है। जिन लोगों को गुर्दे की पथरी है उन्हें इन पत्थरों को पेशाब के माध्यम से बाहर निकालने के लिए दिन में 7-8 गिलास पानी पीने की सलाह दी जाती है।
सेब का सिरका
सेब के सिरके में सिट्रिक एसिड होता है, जो किडनी स्टोन को छोटे-छोटे कणों में काटने का काम करता है। दो छोटे चम्मच सिरके को गर्म पानी के साथ लेने से स्टोन की समस्या में काफी राहत मिल सकती है।
नींबू का रस, जैतून का तेल
नींबू के रस और जैतून के तेल का मिश्रण सुनने में थोड़ा अजीब लग सकता है लेकिन यह किडनी की पथरी को शरीर से बाहर निकालने का एक बहुत ही प्रभावी घरेलू उपाय साबित हो सकता है। जो लोग अपनी किडनी से पथरी को प्राकृतिक रूप से हटाना चाहते हैं उन्हें इस तरल को रोजाना तब तक पीना चाहिए जब तक कि पथरी निकल न जाए। जबकि नींबू का रस गुर्दे की पथरी को तोड़ने में मदद करता है, जैतून का तेल बिना किसी समस्या या जलन के सिस्टम से गुजरने के लिए लुब्रिकेंट के रूप में कार्य करता है।
व्हीट ग्रास
व्हीट ग्रास को पानी में उबालकर ठंडा कर लें. इसके नियमित सेवन से किडनी के स्टोन और किडनी से जुड़ी दूसरी बीमारियों में काफी आराम मिलता है।
पत्थर चट्टा का जूस
पत्थर चट्टा का पौधा आसानी से मिल जाता है। इसका एक पत्ता लें और उसमें मिश्री के कुछ दाने डालकर पीस लें। दिन में दो से तीन बार इसका सेवन करने से स्टोन कुछ ही समय में बाहर निकल सकता है।
तुलसी का जूस
तुलसी के पत्तों में एसिटिक एसिड होता है जो किडनी स्टोन को तोड़ने और इसके दर्द को कम करने में मददगार होते हैं। साथ ही तुलसी का पत्ता डाइजेशन और सूजन की वजह से होने वाली शारीरिक समस्याओं को कम करने में भी मददगार होता है।
अनार का जूस
अनार के जूस का प्रयोग किडनी के बेहतर स्वास्थ्य के लिए सदियों से किया जा रहा है। अनार का जूस आपके शरीर से टॉक्सिंस और स्टोंस को निकाल बाहर फेकता है। इसमें एंटी ऑक्सीडेंट भरपूर मात्रा में होते हैं जो आपकी किडनी को स्वस्थ रखते हैं और स्टोन्स का बनना रोकते हैं। इसके साथ ही ये आपके यूरिन की एसिडिटी को भी कम करता है। जितनी कम यूरिन की एसिडिटी होगी उतनी ही कम भविष्य में पथरी के बनने की आशंका होगी।
राजमा का शोरबा लाभदायक
राजमा उत्तर भारतीय व्यंजनों का एक बेहद आम अंग है।।भले ही आप रेगुलर दिनों में इसे मसालेदार ग्रेवी के रूप में खाएं, लेकिन किडनी के बेहतर स्वास्थ्य के लिए इसे उबालकर इसका पानी पीना बेहद फायदेमंद होता है। राजमा दिखने में भी किडनी जैसा होता है और इसे अंग्रेजी में किडनी बींस कहा जाता है। यह किडनी के स्वास्थ्य और पथरी के बनने को रोकता है। इसके लिए सिर्फ राजमे को पानी के साथ उबालें और इसका पानी छान लें। इस पानी का सेवन दिन भर में कई बार करें।
अस्वीकरण: यह जानकारी आयुर्वेदिक नुस्खों के आधार पर बताई गई है। इनके इस्तेमाल से पहले चिकित्सक की सलाह जरूर लें।