कोर्ट ने 64 दिन में सुनाया साहसी फैसला, मासूम के साथ दरिंदगी व हत्या करने वाले दोषी युवक को सुनाई फांसी की सजा

देश दुनिया की खबरों से हम आपको रूबरू कराते रहते हैं। एक ऐसी खबर हम आपको बताने जा रहे हैं। एक बेहद ही जघन्य अपराध का मामला गाजियाबाद से सामने आया है।

एक दिसंबर को हुई थी लापता

यह मामला गाजियाबाद जिले के थाना साहिबाबाद इलाके का था। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक जहां एक 4 साल की बच्ची 1 दिसंबर को घर से लापता हो गई थी। जिसके बाद परिवार और पुलिस ने उसको काफी तलाशा, लेकिन वह नहीं मिली। वहीं अगले दिन 2 दिसम्बर को बच्ची का शव घर से कुछ दूरी पर अर्द्धनग्न अवस्था में जंगल में मिला था। इसके बाद घटना की सूचना पाकर मौके पर पहुंची पुलिस ने शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया था। जिसके बाद आरोपी की तलाश शुरू की गई। पोस्टमार्टम रिपोर्ट में पता चला कि बच्ची के साथ दुष्कर्म हुआ है। साथ ही बच्ची के साथ हैवानियत की सारी हदें पार की गई थी। जिसने पुलिस टीम को झकझोर दिया।

बच्ची के साथ हैवानियत की हुई थी हदें पार

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक पुलिस ने घटना का खुलासा करने के लिए छह टीमों का गठन किया और अपराध के छह दिन बाद सीसीटीवी फुटेज के आधार पर छानबीन करते हुए नंदग्राम थाना क्षेत्र के दीनदयाल पुरी इलाके के 40 फुटा रोड से आरोपी सोनू गुप्ता (20) को गिरफ्तार कर विधिक प्रक्रिया पूरी कर जेल भेज दिया था। पुलिस ने इस मामले में घटना के 15 दिन के अंदर अपहरण, दुष्कर्म व हत्या की धाराओं में आरोप पत्र दाखिल कर दिया था। उन्होंने कहा कि अदालत ने दो महीने चार दिन के अंदर अपना फैसला सुना दिया। अदालत ने 16 गवाहों को सुनने के बाद आरोपी को दोषी ठहराया।

कोर्ट का फैसला

इस मामले में गिरफ्तारी के 64 दिन बाद अदालत ने अपना फैसला सुनाया है और सोनू गुप्ता को फांसी की सजा सुनाई है। बीते शनिवार को कोर्ट ने आरोपी को फांसी की सजा सुनाई है। आरोपी 20 वर्षीय सोनू गुप्ता को पॉक्सो कोर्ट ने फांसी की सजा सुनाई है। साथ ही कोर्ट ने आरोपी पर 20 हजार रुपए का अर्थदंड भी लगाया है। सरकारी वकील का दावा है कि पुलिस की बेहतरीन जांच और सतर्कता के चलते आरोपी को इतनी जल्दी इतनी कड़ी सजा मिली हैं। वहीं कोर्ट के इस फैसले के बाद परिवार ने कोर्ट और पुलिस का धन्यवाद किया और कहा कि उनकी मासूम बच्ची को इंसाफ मिला है।