उत्तराखंड: महिला उत्थान समिति अल्मोड़ा द्वारा महिला स्वास्थ्य व आजीविका के लिए जोखिम जागरूकता एवं वैज्ञानिक स्वभाव प्रोत्साहन कार्यक्रम पौड़ी गढ़वाल में किया जा रहा आयोजित

सिम्मलचौड़ विकासखंड दुगडडा जिला पौड़ी गढ़वाल में राष्ट्रीय विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद के तत्वाधान में ग्रामीण महिला उत्थान समिति अल्मोड़ा द्वारा तीन दिवसीय कार्यशाला का आयोजन किया जा रहा है।

सदस्यों को कार्यशाला सामग्री का वितरण किया गया

जिसमें महिला स्वास्थ्य ,आजीविका, जोखिम जागरूकता ,एवं वैज्ञानिक स्वभाव विषय पर कार्यक्रम होना है कार्यक्रम में मुख्य अतिथि नवदुर्गा महिला स्वयं सहायता समूह की पूर्व अध्यक्ष  उमा गुसाई द्वारा दीप प्रज्वलित कर तीन दिवसीय कार्यशाला का शुभारंभ किया गया कार्यक्रम के प्रारंभ में संस्था के अध्यक्ष  प्रेम लटवाल द्वारा कार्यक्रम को संचालित करते हुए महिला समूह संगठनों को कार्यक्रम के प्रमुख बिंदुओं पर चर्चा करते हुए संस्था प्रतिनिधियों के द्वारा स्वयं सहायता समूह संगठन के उपस्थित सदस्यों को कार्यशाला सामग्री का वितरण किया गया।

प्रतिभागियों को आजीविका उपार्जन, स्वास्थ्य, कृषि, सूचना प्रौद्योगिकी, के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई

उसके उपरांत कार्यशाला में उपस्थित प्रतिभागियों को आजीविका उपार्जन, स्वास्थ्य, कृषि, सूचना प्रौद्योगिकी, के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। कार्यशाला में उपस्थित धूप अगरबत्ती ट्रेनर सीमा देवीलियान द्वारा घरेलू उत्पादन से धूप अगरबत्ती निर्माण में आवश्यक उपयोगी सामग्री के साथ प्रशिक्षण दिया गया । वहीं मशरूम ट्रेनर मीनाक्षी द्वारा मशरूम उत्पादन में आवश्यक सामग्री सहित समस्त महिला समूह के सभी सदस्यों को प्रशिक्षण प्रदान किया गया तथा मुख्यालय से उपस्थित कर्मचारी सुनीता द्वारा स्वास्थ्य पोषण से संबंधित जानकारी महिलाओं को दी गई कि हम अपने स्वास्थ्य के प्रति कैसे जागरूक रह सकते हैं एवं रहना चाहिए साथ ही संस्था सचिव आनंद बिष्ट व संस्था प्रतिनिधि अरविंद बिष्ट द्वारा स्वास्थ, पोषण, आजीविका,पर अलग-अलग बिंदुओं पर विस्तार से जानकारी उपस्थित प्रशिक्षण ले रहे प्रतिभागियों को दी गई ।

35 महिलाओं द्वारा किया जा रहा प्रतिभाग

कार्यक्रम में उपस्थित विभिन्न ग्रामों से ग्राम समूह संगठनों के 35 महिलाओं द्वारा प्रतिभाग किया जा रहा है इसके अतिरिक्त स्थानीय उत्पादों मडुवा हल्दी गिलोय तुलसी झुंगरा कड़ी पत्ता आदि से इसके होने वाले शारीरिक लाभ के बारे में बताया गया विषय विशेषज्ञों द्वारा महिला समूह के महिलाओं को वैज्ञानिक तकनीकी का विशेष प्रयोग कर कम समय में कम लागत पर अपना स्वरोजगार कर सकती ऐसे सुझाव दिए गए।