कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर का तांडव लोगों के लिए एक भयानक समय लेके आया, जिसने बड़ी संख्या में लोगों को अपनी चपेट में लिया और लोगों में अपनी दहशत बनाई। वही इस कोरोना काल में सबसे अधिक खतरा डाॅक्टर्स और स्वास्थ्य कर्मियों ने लिया। जिन्होंने दिन रात कोरोना संक्रमित मरीजों की सेवा की। जिसमें बड़ी संख्या में डॉक्टर्स भी इस महामारी की चपेट में आए है।
कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर में डाॅक्टरों ने गंवाई अपनी जान-
देश भर में कोरोना संक्रमण महामारी की दूसरी लहर में कम से कम 624 डॉक्टरों की मौत हो गई, जिसमें राष्ट्रीय राजधानी को सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। इंडियन मेडिकल एसोसिएशन की ताजा रिपोर्ट के मुताबिक अकेले दिल्ली में अब तक 109 डॉक्टरों की मौत हो चुकी है। वही आईएमए के नए आंकड़ों के अनुसार 2020 में महामारी की शुरूआत से अब तक कुल 1,362 डॉक्टरों ने अपनी जान गंवाई है। जिसमें पहली लहर में 748 डॉक्टरों की जान गई थी।
जाने अन्य राज्यों के आंकड़े-
कोरोना काल में बिहार में कुल 96 डॉक्टरों की मौत हुई है, जबकि उत्तर प्रदेश ने 79, राजस्थान ने 43, झारखंड ने 39 और आंध्र प्रदेश ने 34 डॉक्टरों ने जान गंवाई है। वही पुडुचेरी में एक डॉक्टर की मौत हुई, जबकि त्रिपुरा में 2, उत्तराखंड में 2, गोवा में 2, हरियाणा, जम्मू और कश्मीर और पंजाब ने 3-3 डॉक्टरों को खोया।
गर्भवती महिला डॉक्टरों ने भी गंवाई जान-
आईएमए के अनुसार, मरने वालों में ज्यादातर डाॅक्टरों की आयु 30 से 55 वर्ष की थी, जिनमें रेजिडेंट डॉक्टर और इंटर्नशिप करने वाले डॉक्टर शामिल थे। इसके अलावा, कुछ गर्भवती महिला डॉक्टरों ने भी कोरोना काल में सेवा देने के दौरान अपनी जान गंवाई है।