पूर्व सीएम हरीश रावत ने संसद में राहुल गांधी को न बोलने देने पर सवाल खड़े किये हैं ।अपने सोशल मीडिया अकाउंट में पूर्व सीएम रावत ने लिखा है कि ‘भाजपा के लोकतंत्र और संसदीय लोकतंत्र की अपनी परिभाषा है, जो कि शायद आरएसएस ने रटाई है।
यदि संसद में विपक्ष का सांसद नहीं बोलेगा तो फिर कहां बोलेगा?
राहुल गांधी सांसद हैं और स्पीकर से आग्रह कर रहे हैं कि उन्हें संसद में बोलने का उतना ही समय दें, जितना उनके खिलाफ सदन में चार मंत्रियों ने बोला। पूर्व सीएम रावत ने कहा है कि ‘भाजपा कहती है, नहीं हम बोलने नहीं देंगे । पहले आप हमारा आदेश मानो और जो अपराध किया ही नहीं उसके लिए माफी मांगो। यदि संसद में विपक्ष का सांसद नहीं बोलेगा तो फिर कहां बोलेगा?
भाजपा पर बहुमत के अहंकार में होने का आरोप
रावत ने भाजपा के सांसदों पर बहुमत के अहंकार में होने का भी आरोप लगाया हैं। कहना है कि भाजपा संख्या बल से अल्पमत कि आवाज को दबा देना चाहती है।