विशेष न्यायाधीश भ्रष्टाचार निवारण प्रीतू शर्मा की कोर्ट ने रिश्वत लेते रंगे हाथ पकड़े गए एनएच के अधिशासी अभियंता महिपाल सिंह कालाकोटी व सहायक अभियंता हितेश कांडपाल की जमानत याचिका खारिज की।
रिश्वत मामले में हुई थी गिरफ्तारी-
अभियोजन अधिकारी नरेंद्र नाथ पांडे ने कोर्ट को बताया कि अल्मोड़ा निवासी विक्रम साह ने बार खोलने के लिए लोनिवि के एनएच खंड समेत अन्य विभागों से एनओसी मांगी थी। सभी ने एनओसी जारी कर दी थी, जबकि एनएच खंड के इंजीनियरों ने एनओसी लटका दी और एनओसी जारी करने के लिए रिश्वत मांगी गई। जिसकेबाद बार संचालक एनएच के दफ्तर में एक लाख की रिश्वत ईई को सौंपी व ईई ने यह रकम एई को सौंपी। जिसमें 8 जुलाई को विजिलेंस के एसपी राजेश भट्ट के निर्देशन में टीम ने दोनों को एक लाख रुपये रिश्वत लेते गिरफ्तार किया था। जिसके बाद एंटी करप्शन कोर्ट ने पेशी के बाद दोनों अभियंताओं को गिरफ्तार कर लिया था।
अधिवक्ता के माध्यम से न्यायालय में जमानत याचिका की दाखिल-
जिसमें अधिवक्ता के माध्यम से अभियंताओं ने न्यायालय में जमानत याचिका दाखिल की। पत्रावली में मौजूद साक्ष्य का परिसीलन कर न्यायायल ने दोनों की जमानत याचिका खारिज की।